Uttar Pradesh: उत्तर प्रदेश में एक बार फिर ट्रेन के पटरी से उतरने की कोशिश की गई। बरेली-वाराणसी एक्सप्रेस ट्रेन के रास्ते में एक 10 किलोग्राम का लकड़ी का टुकड़ा पड़ा मिला, जिसने गंभीर हादसे को टाल दिया। यह घटना लखनऊ से नई दिल्ली के रेलवे मार्ग पर हुई, जहां रेलवे ट्रैक पर रखी लकड़ी की वजह से ट्रेन की गति में अचानक बाधा आई।
लकड़ी का टुकड़ा एक्सप्रेस ट्रेन में फंसा
स्थानीय अधिकारियों के अनुसार, लकड़ी का टुकड़ा मलीहाबाद और काकोरी रेलवे स्टेशनों के बीच ट्रैक पर रखा गया था। बरेली-वाराणसी एक्सप्रेस ट्रेन ने जब 2 फीट लंबे और 10 किलोग्राम के लकड़ी के टुकड़े से टकराई, तो यह ट्रेन के पहियों में फंस गया। इस घटना के बाद, ट्रेन के लोको पायलट ने तुरंत ट्रेन को रोक दिया, जिससे एक बड़ा हादसा टल गया।
ट्रेन संचालन दो घंटे के लिए रुका
इस घटना के बाद, तुरंत स्टेशन मास्टर को ट्रैक की सुरक्षा के लिए चेतावनी जारी की गई। जब ट्रैक का निरीक्षण किया गया, तो ऊपर के ट्रैक पर भी एक लकड़ी का टुकड़ा पाया गया। इसके चलते ट्रेन संचालन लगभग दो घंटे के लिए रोक दिया गया। इस स्थिति ने यात्रियों और रेलवे अधिकारियों के बीच चिंता पैदा कर दी।
गैस सिलेंडर ने भी बनाया था खतरा
उत्तर प्रदेश के कानपुर में भी इसी तरह का एक मामला पिछले महीने सामने आया था। जहां भिवानी जाने वाली कलिंदी एक्सप्रेस को पटरी से उतरने से बचाया गया था। इस घटना में एक भरा हुआ गैस सिलेंडर रेलवे ट्रैक पर रखा गया था। जब ट्रेन 100 किमी की गति से बाराजपुर और बिल्हौर के बीच चल रही थी, तो उसने इस सिलेंडर से टकराई। अचानक तेज आवाज सुनकर लोको पायलट ने इमरजेंसी ब्रेक लगाकर ट्रेन को रोक लिया, जिससे एक बड़ा हादसा टल गया।
रायबरेली में मालगाड़ी का भी हुआ था प्रयास
इसके पहले रायबरेली में भी ट्रेन को पटरी से उतरने से रोकने का प्रयास किया गया था। वहां एक मालगाड़ी ने एक सीमेंटेड स्लीपर से टकराई थी। लोको पायलट की सूझबूझ से यह हादसा टल गया। यह घटना लक्समनपुर स्टेशन के पास हुई थी, जहां तुरंत कार्रवाई की गई और यात्रियों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया गया।
अज्ञात लोगों का जिम्मेदार ठहराया जा रहा है
इन घटनाओं के पीछे अज्ञात लोगों को जिम्मेदार ठहराया जा रहा है, जो जानबूझकर रेलवे ट्रैक पर बाधाएं डाल रहे हैं। यह न केवल यात्रियों की सुरक्षा के लिए खतरा है, बल्कि रेलवे प्रणाली की समग्र सुरक्षा के लिए भी चिंता का विषय है। रेलवे अधिकारियों ने सुरक्षा उपायों को और सख्त करने का आश्वासन दिया है।
यात्रियों की सुरक्षा का महत्वपूर्ण सवाल
इस प्रकार की घटनाएं रेलवे के प्रति सुरक्षा संबंधी सवाल उठाती हैं। यात्रियों की सुरक्षा के लिए रेलवे विभाग को ठोस कदम उठाने की आवश्यकता है। यह महत्वपूर्ण है कि ट्रेन चलाने वाली कंपनियां और संबंधित प्राधिकरण सुरक्षा प्रोटोकॉल को फिर से परखें और सुनिश्चित करें कि यात्री सुरक्षित यात्रा कर सकें।
सामुदायिक जागरूकता की आवश्यकता
इसके अलावा, स्थानीय समुदायों को भी जागरूक किया जाना चाहिए ताकि ऐसे खतरनाक तत्वों के खिलाफ कार्रवाई की जा सके। ट्रेनें देश की जीवनरेखा हैं, और इन्हें सुरक्षित रखने के लिए सामूहिक प्रयासों की आवश्यकता है। यदि कोई संदिग्ध गतिविधि देखी जाए, तो स्थानीय अधिकारियों को तुरंत सूचित करना चाहिए।
समापन
इस प्रकार की घटनाएं केवल उत्तर प्रदेश में नहीं, बल्कि पूरे देश में सुरक्षा की चिंता पैदा करती हैं। रेलवे विभाग और सरकारी संस्थाओं को मिलकर यह सुनिश्चित करना चाहिए कि यात्री सुरक्षित रहें और इस प्रकार की घटनाओं को रोकने के लिए आवश्यक उपाय करें। बरेली-वाराणसी एक्सप्रेस की घटना से एक बार फिर यह स्पष्ट हो गया है कि ट्रेनों की सुरक्षा के प्रति जागरूकता और तत्परता आवश्यक है।